बिल्वफलादि चूर्ण
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पैक का आकार : 50 ग्राम
सामग्री सूची:
एग्ला मार्मेलोस, साइपरस स्कारियोसस, वेलेरियाना वालिची, मोच रास, होलारेना एंटीडिसेंट्रिका
मुख्य लाभ:
पुरानी कब्ज दूर करें, पेचिश दूर करें (अमीबिक, खूनी)
का उपयोग कैसे करें:
5-10 ग्राम पानी के साथ दिन में दो बार या चिकित्सक के निर्देशानुसार लें।
उत्पाद वर्णन
स्वदेशी बिल्वफलादि चूर्ण बेल, मुष्ट, सुगंधबाला, मोच रस और इंद्रजा का एक आदर्श संयोजन है जिसका उपयोग मुख्य रूप से चिड़चिड़ा आंत्र सिंड्रोम के उपचार में किया जाता है।
मुख्य घटक:
बेल
- यह कब्ज, दस्त, अपच, अल्सर, बवासीर जैसी कई पेट की बीमारियों को रोकने और ठीक करने में मदद कर सकता है। बेल का शर्बत पीने से आपको पाचन में सुधार करने में मदद मिल सकती है।
- रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाता है.
- तुरन्त ऊर्जा प्रदान करता है.
- रक्त शुद्धि के लिए अच्छा है।
मुस्तहा
- यह अवशोषक के रूप में उपयोगी है।
- पाचन एवं वातहर के रूप में कार्य करें।
सुगंधबाला
- इसका उपयोग घाव, खांसी, अस्थमा और सामान्य दुर्बलता के उपचार में किया जाता है।
मोच रास
- कसैला, शोषक, पेचिश, अपच, दस्त से राहत देता है।
इनद्राजा
- चिड़चिड़ा आंत्र सिंड्रोम, दस्त आदि के इलाज में फायदेमंद।